जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर पीएम नरेंद्र मोदी का पहला रिएक्शन

PM Narendra Modi On Dhankar Resignation: जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर पीएम मोदी का पहला रिएक्शन आ गया है। उन्होंने कहा है कि वे उनके अच्छे स्वास्थ्य की कामना करते हैं। असल में सोमवार रात को जगदीप धनखड़ ने अचानक से उप राष्ट्रपति पद से इस्तीफा दे दिया था, उन्होंने खुद एक चिट्ठी में स्वास्थ्य का हवाला दिया था। उस एक फैसले के बाद से ही सियासत गरमा गई थी और तरह-तरह की अटकलें लगाई जा रही थीं।

अब इस बीच पीएम नरेंद्र मोदी ने जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर कहा है कि श्री जगदीप धनखड़ जी को भारत के उपराष्ट्रपति सहित कई भूमिकाओं में देश की सेवा करने का अवसर मिला है। मैं उनके उत्तम स्वास्थ्य की कामना करता हूं। वैसे पीएम मोदी ने जरूर सामने से आकर रिएक्शन दिया है, लेकिन बीजेपी के बड़े और दिग्गज नेताओं ने इस पर अभी तक खुलकर कोई टिप्पणी नहीं की है। इसके ऊपर विपक्षी खेमे में तो इस समय बीजेपी अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा को निशाने पर लिया जा रहा है।

Shri Jagdeep Dhankhar Ji has got many opportunities to serve our country in various capacities, including as the Vice President of India. Wishing him good health.श्री जगदीप धनखड़ जी को भारत के उपराष्ट्रपति सहित कई भूमिकाओं में देश की सेवा करने का अवसर मिला है। मैं उनके उत्तम…

जब से जगदीप धनखड़ का इस्तीफा हुआ है, एक वर्ग जेपी नड्डा पर भी सवाल खड़े कर रहा है। असल में सोमवार को जब मानसून सत्र शुरू हुआ था, तब कार्यवाही के दौरान नड्डा ने कह दिया था सिर्फ मेरी बात ऑन रिकॉर्ड जाएगी, बाकी किसी का कुछ नहीं जाएगा। विपक्ष का आरोप रहा कि नड्डा का ऐसा बयान चेयर का सबसे बड़ा अपमान है। दावा यहां तक किया गया कि इसी वजह से जगदीप धनखड़ नाराज हुए।

वैसे अब जब जगदीप धनखड़ इस्तीफा दे चुके हैं, सभी के मन में कई सवाल उठ रहे हैं। सोशल मीडिया पर सबसे ज्यादा चर्चा पांच सवालों की हो रही है।

जगदीप धनखड़ ने जो एक चिट्ठी जारी की है, उसमें उन्होंने स्वास्थ्य कारणों को ही अपने इस्तीफे का कारण बताया है। उन्होंने अपनी तरफ से किसी भी तरह के सियासी प्रेशर का जिक्र नहीं किया है। लेकिन राजनीतिक गलियारों में अभी से चर्चा है कि किसी और वजह से अचानक से इस्तीफा हुआ है।

अभी तक किसी का भी नाम सामने नहीं आया है, लेकिन बीजेपी के अंदरखाने ऐसी बात चल रही है कि किसी अनुभवी नेता को ही इतना जरूरी पद मिलना चाहिए। चर्चा हरिवंश नारायण सिंह की भी हो रही है, इस समय वे उपसभापति की भूमिका निभा रहे हैं।

जैसे हर चीज का बैकअप होता है, राज्यसभा भी ऐसी अप्रत्याशित घटनाओं के लिए तैयार रहता है। अगर कभी उपराष्ट्रपति अपने पद से इस्तीफा दे दें तो उस स्थिति में संसद की कार्यवाही उपसभापति के पास चली जाती है। जब तक नए उपराष्ट्रपति नहीं चुन लिए जाते, उपसभापति ही उस पद को संभालते हैं।

इसका सीधा जवाब है नहीं। हमारा संविधान कोई भी ऐसा पद नहीं देता है, ऐसे में अगर उपराष्ट्रपति इस्तीफा देंगे तो जल्द से जल्द फिर चुनाव ही करवाना होगा।

संविधान के आर्टिकल 68 के मुताबिक, उपराष्ट्रपति के पद पर उनकी मृत्यु, इस्तीफा या पद से हटाए जाने या अन्य किसी कारण से होने वाली रिक्ति को भरने के लिए चुनाव, पद खाली होने के बाद जल्द से जल्द कराया जाएगा। संविधान के अनुच्छेद 66 के अनुसार, उपराष्ट्रपति का चुनाव संसद के दोनों सदनों के सदस्यों से मिलकर बने निर्वाचक मंडल 

 

‘हेल्दी इंसान को गिरके तुरंत मरते भी देखे हैं…’, रवि किशन बोले- उनको डॉक्टर ने कहा है U Need to Rest

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर जमकर चर्चा हो हो रही है, विपक्षी दल यह मानने के लिए तैयार नहीं हैं कि उनके इस्तीफे की वजह उनका स्वास्थ्य ही है। विपक्षी दलों से संबंध रखने वाले कई सांसद उनके इस्तीफे को लेकर पर्दे के पीछे कुछ और खेल बता रहे हैं।

विपक्षी दलों द्वारा उठाए जा रहे सवालों को बीजेपी के गोरखपुर से सांसद रवि किशन ने राजनीति से प्रेरित बताया है। उन्होंने संसद परिसर में न्यूज एजेंसी ANI से बातचीत में कहा कि विपक्ष का काम है बोलना, किसी भी बात पर, किसी के स्वास्थ्य का भी मजाक उड़ा सकते है, उसपर भी राजनीति कर सकते हैं। मनुष्य के जीवन में आप हेल्दी इंसान को गिरके तुरंत मृत्यु होते भी देखे हैं। कब कौन से पल आदमी बीमार होता है, सुबह क्या है, शाम को क्या है…

उन्होंने आगे कहा, “उनको डॉक्टर ने कहा है कि भई यू नीड टू रेस्ट, अगर कोई रेस्ट करना चाहता है तो उसपर भी राजनीति? किसी का शरीर गवाह न कर रहा है, डॉक्टर ने कहा होगा, कोई रिपोर्ट आई होगी, कोई मेडिकल जांच हुई होगी, डॉक्टर ने कहा होगा… जस्ट टेक केयर, यू नीड टू रेस्ट, सम बडी इज रेस्टिंग, आप उसपर भी राजनीति कर रहे हैं, मतलब हद हो गई राजनीति का लेवल दिन प्रति दिन नीचे गिरता जा रहा है।”

शिवसेना यूबीटी के सांसद अरविंद सावंत ने कहा कि जगदीप धनखड़ के इस्तीफे की खबर शॉकिंग है। उन्होंने कहा कि उपराष्ट्रपति की हेल्थ इतनी भी खराब नहीं थी कि उन्हेंं इस्तीफा देना पड़े। किसी ने उनकी तबीयत खराब की है। सत्ताधारी पार्टी चुप है, इसका मतलब है कि कुछ गलत है।

#WATCH | Delhi | On the resignation of Vice President Jagdeep Dhankhar, BJP MP Ravi Kishan says, “…The opposition is making fun of someone’s health condition and doing politics on it…The level of politics is falling…” pic.twitter.com/BuK2ruA0LH

प्रधानमंंत्री नरेंद्र मोदी ने जगदीप धनखड़ के अचानक इस्तीफे पर क्या कहा?

लोकसभा में कांग्रेस के उप नेता गौरव गोगोई ने उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के इस्तीफे को ‘चौंकाने वाला’ घटनाक्रम करार देते हुए मंगलवार को केंद्र से यह स्पष्ट करने को कहा कि क्या उसे इस बारे में पहले से कोई जानकारी थी। गोगोई ने उपराष्ट्रपति पद के लिए नयी नियुक्ति के संबंध में भी सरकार से स्पष्टीकरण मांगा।

उन्होंने X पर लिखा किया, “माननीय उपराष्ट्रपति का इस्तीफा चौंकाने वाला है। मैं आदरणीय धनखड़ जी के अच्छे स्वास्थ्य की कामना करता हूं।” उन्होंने कहा, “लेकिन केंद्र सरकार यह स्पष्ट करे कि क्या उसे पहले से इसकी सूचना थी और क्या उसने नया उपराष्ट्रपति चुनने के लिए योजना बनाई थी। कल माननीय उपराष्ट्रपति की अध्यक्षता में हुई बैठक में वरिष्ठ मंत्रियों की अनुपस्थिति अब और भी महत्वपूर्ण हो गई है।”

‘सितंबर में बहुत कुछ होगा…’, जगदीप धनखड़ के इस्तीफे को लेकर संजय राउत बोले – दिल्ली में पर्दे के पीछे कुछ हो रहा

‘वो लंबे – जंबे जाट हैं, हट्टे – कट्टे’, जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर रेणुका चौधरी बोलीं- BJP में अजीब वायरस घूम रहा

जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के कारणों पर विपक्षी दल लगातार सवार कर रहे हैं। अब कांग्रेस पार्टी की राज्यसभा सांसद रेणुका चौधरी ने भी उनके इस्तीफे के पीछे अन्य वजह बताई है। उन्होंने न्यूज एजेंसी ANI से बातचीत में कहा कि अगर स्वास्थ्य खराब होता तो AIIMS जैसे बहुत ही बढ़िया अस्पताल हैं। उपराष्ट्रपति का स्वास्थ्य बड़ा मुद्दा नहीं है। उन्होंने कहा, “वो लंबे – जंबे जाट हैं, हट्टे – कट्टे… सब ठीक – ठाक है लेकिन ये सरकारी बीमारी है। अजीब वायरस बीजेपी में धूमती रहती है। इनको भी लग गई है।”

#WATCH | Delhi | On the resignation of Vice President Jagdeep Dhankhar, Congress Rajya Sabha MP Renuka Chowdhury says, “…If his health has deteriorated, he could have been admitted to AIIMS…Vice President Jagdeep Dhankhar is a Jaat. Everything is fine, but there is a strange… pic.twitter.com/na9spTXoS7

जगदीप धनखड़ के गांव के लोगों में उनके इस्तीफे से निराशा का माहौल है। न्यूज एजेंसी ANI से बातचीत में उनके गांव के व्यक्ति हरेंद्र धनखड़ ने कहा कि उनके इस्तीफे की खबर सुनकर हमें गहरा सदमा लगा। यह भी सच है कि मार्च में उनकी एंजियोप्लास्टी हुई थी। पिछले महीने जब वे उत्तराखंड गए थे, तो वहां भी उनकी तबीयत बिगड़ गई थी। 2022 में जब वे उपराष्ट्रपति बने, तो गांव में खुशी का माहौल था कि किठाना के एक किसान का बेटा देश का उपराष्ट्रपति बना। उन्होंने स्कूल और गौशाला को भी काफ़ी आर्थिक सहयोग दिया है। गांंव और आसपास के इलाके में हर कोई दुआ कर रहा है कि उनका स्वास्थ्य अच्छा रहे। वे जल्द स्वस्थ भी हों…

जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर पीएम नरेंद्र मोदी का पहला रिएक्शन

अशोक गहलोत ने उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के इस्तीफे को चौंकाने वाला बताते हुए कहा कि “दबाव में काम करने वाला व्यक्ति ही इस प्रकार से चौंकाने वाला इस्तीफा दे सकता है।” गहलोत ने यह भी कहा कि धनखड़ के इस्तीफे से राजस्थान वासियों को गहरा धक्का लगा है। उन्होंने कहा, “ये घटना पूरे देश को चौंकाने वाली है इसमें कोई दोराय नहीं है। क्योंकि आजादी के बाद उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफा पहली बार हुआ है।”

उन्होंने कहा, “घटना इस प्रकार मोड़ ले रही है, प्रधानमंत्री (नरेन्द्र मोदी) आजकल विदेश दौरे पर जा रहे हैं… अचानक उपराष्ट्रपति का इस्तीफा होता है जो पूरे देश दुनिया में चर्चा का विषय बन जाता है।” उन्होंने कहा, “धनखड़ साहब राजस्थान के हैं तो (उनके इस्तीफे से) राजस्थान वासियों को बहुत धक्का लगा। क्योंकि वह किसानों की बात संसद के अंदर व बाहर लगातार उठाते रहे हैं। थोड़े दिन पहले ही उन्होंने केंद्रीय कृषि मंत्री को खरी खोटी भी सुनाई। दस जुलाई को ही उन्होंने कहा कि मैं 2027 तक सेवानिवृत्त हो जाऊंगा।”

‘हेल्दी इंसान को गिरके तुरंत मरते भी देखे हैं…’, रवि किशन बोले- उनको डॉक्टर ने कहा है U Need to Rest

Jagdeep Dhankhar Resignation: क्या CM नीतीश कुमार होंगे उपराष्ट्रपति? बिहार सरकार में BJP के मंत्री का बहुत बड़ा बयान आ गया

Bihar CM Nitish Kumar News: उपराष्ट्रपति के पद से जगदीप धनखड़ के इस्तीफे की सबसे ज्यादा चर्चा जिस राज्य में हो रही है, वह सूबा बिहार है। इसके पीछे वजह यह है कि देश का अगला उपराष्ट्रपति कौन होगा, इसे लेकर सोशल मीडिया पर चल रही अटकलों में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का नाम सबसे आगे है। हालांकि यह सिर्फ सोशल मीडिया पर चल रही अटकलें हैं लेकिन तमाम लोगों का ऐसा दावा है कि नीतीश कुमार को उपराष्ट्रपति बनने का मौका मिल सकता है।

अब इस मामले में नीतीश की सरकार के मंत्री नीरज कुमार सिंह बबलू का बयान भी आ गया है। नीरज कुमार सिंह बबलू से मंगलवार को जब पत्रकारों ने सवाल पूछा कि ऐसी चर्चा चल रही है कि नीतीश कुमार को उपराष्ट्रपति बनना चाहिए तो उन्होंने सीधे शब्दों में जवाब दिया, ‘अच्छी बात है, बन जाएं तो क्या दिक्कत है… बन जाएं।’

#WATCH | Patna: When asked about speculations of CM Nitish Kumar in the race for the vice-president’s post after Dhankhar’s resignation, Bihar Minister Neeraj Kumar Singh Bablu says, “It is a good thing. If he becomes, then what is the problem with this?…” pic.twitter.com/rA2ZFWQcSA

इस मामले में बिहार बीजेपी के विधायक हरिभूषण ठाकुर का भी बयान आया है। ठाकुर ने कहा, “उन्होंने स्वास्थ्य कारणों से इस्तीफा दिया; इसमें कोई संदेह नहीं है… अगर नीतीश कुमार (उपराष्ट्रपति के रूप में) कार्यभार संभालते हैं तो बिहार के लोग खुश होंगे।”

#WATCH | Patna | On VP Jagdeep Dhankhar’s resignation, BJP MLA Haribhushan Thakur says, “He resigned due to health conditions; this is not questionable… Bihar’s people will be happy if Nitish Kumar takes over (as Vice President)…” pic.twitter.com/6KxHKfI6yx

नीरज कुमार सिंह बबलू और बीजेपी के विधायक हरिभूषण ठाकुर के बयानों से सोशल मीडिया पर चल रही चर्चाओं को ताकत मिली है क्योंकि टीवी चैनलों और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इस बात को लेकर बहस चल रही है कि अगला उपराष्ट्रपति कौन होगा और इसमें अधिकतर लोग इस पद पर नीतीश कुमार की दावेदारी को मजबूत बता रहे हैं। हालांकि नीतीश की पार्टी जेडीयू की ओर से इसे लेकर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।

जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के बाद ये 5 सवाल सभी के मन में आ रहे हैं

फिर भी चर्चाओं और अटकलों का बाजार गर्म है। बिहार में अगले महीने विधानसभा चुनाव का ऐलान हो सकता है और अक्टूबर-नवंबर तक राज्य में नई सरकार बन जाएगी। इस बीच, जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के बाद जब सोशल मीडिया पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का नाम उपराष्ट्रपति पद की दौड़ में चलने लगा तो पटना से लेकर दिल्ली तक लोगों के कान खड़े हो गए। लोगों ने सवाल उठाया कि क्या वाकई ऐसा हो सकता है?

नीतीश कुमार पिछले 20 साल से (जीतन राम मांझी के 10 महीने के कार्यकाल को छोड़कर) लगातार राज्य के मुख्यमंत्री रहे हैं। नीतीश कुमार चाहे गठबंधन के साथ रहे या फिर एनडीए के साथ, वह मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बने रहे लेकिन अब ऐसी चर्चा है कि वह बतौर उपराष्ट्रपति दिल्ली जा सकते हैं।

इस तरह की चर्चाओं पर तब तक विराम नहीं लगेगा जब तक एनडीए की ओर से उपराष्ट्रपति पद के लिए अपने उम्मीदवार के नाम का ऐलान नहीं किया जाता। एक चर्चा यह भी है कि नीतीश कुमार को अगर बीजेपी और एनडीए उपराष्ट्रपति बनाते हैं तो इससे उन्हें विधानसभा चुनाव में बिहार की पिछड़ी जातियों का अच्छा-खासा समर्थन मिलेगा।

धनखड़ के इस्तीफे के बाद कौन चलाएगा राज्यसभा? यहां जानें जवाब

बिहार की आबादी में पिछड़ा समुदाय की आबादी 63% है और यह न सिर्फ बिहार बल्कि उत्तर प्रदेश और भारत के तमाम राज्यों में एक ताकतवर जातीय समूह है। इस तरह की अटकलें सही साबित होती हैं यानी नीतीश कुमार अगर उपराष्ट्रपति बनते हैं तो एनडीए उत्तर प्रदेश, बिहार में पिछड़ी जाति के मतदाताओं के बीच अपनी पकड़ को और मजबूत कर सकता है।

देखना होगा कि इस तरह की अटकलों में कितना दम है?

‘मैं सही टाइम पर रिटायर होऊंगा’, धनखड़ ने कुछ दिन पहले कहा था

इस्तीफा जगदीप धनखड़ का, लेकिन पूरा विपक्ष जेपी नड्डा को ‘विलेन’ बताने में क्यों लगा?

Why Did Jagdeep Dhankar Resign: उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का इस्तीफा हो चुका है। उस इस्तीफे को लेकर तमाम तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। धनखड़ ने खुद जरूर स्वास्थ्य कारणों का हवाला दिया है, लेकिन विपक्ष इसे एक बड़ा राजनीतिक कदम मान रहा है, वो इसके अलग ही मायने निकाल रहा है। यहां भी सबसे ज्यादा चर्चा बीजेपी अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा की हो रही है। पूरा विपक्ष इस समय जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के बाद जेपी नड्डा को ही विलेन की तरह पेश कर रहा है।

अब विपक्ष के पास अपनी एक थ्योरी इस समय तैयार है। उस थ्योरी के आधार पर ही वो धनखड़ के इस्तीफे के बाद नड्डा को निशाने पर ले रहे हैं। यह पूरा विवाद सोमवार को शुरू हुए मानसून सत्र से जुड़ा हुआ है। असल में राज्यसभा में जेपी नड्डा की विपक्षी सांसदों के साथ कहासुनी हुई थी। संसद की कार्यावही के दौरान क्योंकि विपक्ष लगातार हंगामा कर रहे थे, ऐसे में जेपी नड्डा ने दो टूक कहा था- मैं जो बोल रहा हूं, वहीं ऑन रिकॉर्ड जाएगा, बाकी कुछ नहीं जाएगा। अब इसी बयान को विपक्ष ने एक बड़ा मुद्दा बना लिया है।

विपक्ष के नेताओं का तर्क है कि जेपी नड्डा ने इस बयान से सीधे-सीधे चेयर का अपमान किया है। विपक्ष ही इस थ्योरी को भी बल दे रहा है कि इसी वजह से जगदीप धनखड़, जेपी नड्डा से खफा हो गए थे। इसके ऊपर इस समय खबर यह भी है कि बिजनेस एडवाइजरी की जो मीटिंग सोमवार शाम को होनी थी, उसमें जेपी नड्डा ने हिस्सा नहीं लिया। विपक्ष ने इसे भी मुद्दा बना लिया है, वो भी इसे भी धनखड़ की नाराजगी और अपमान से जोड़कर देख रहा है। यह अलग बात है कि इस विवाद पर अब खुद जेपी नड्डा ने सफाई पेश की है।

सबसे मुखर उपराष्ट्रपति बनने में सफल रहे धनखड़

बैठक में शामिल ना होने पर नड्डा ने कहा था कि उपराष्ट्रपति कार्यालय को बैठक में उपस्थित न हो पाने की हमारी असमर्थता के बारे में सूचित कर दिया गया था। इसके अलावा संसद वाले विवाद के लिए भी नड्डा ने दो टूक कहा कि उनका बयान चेयर के लिए नहीं बल्कि हंगामा कर रहे विपक्षी सांसदों के लिए था। वैसे एक और कारण इस समय सामने आया है जिसे धनखड़ के इस्तीफए से जोड़कर देखा जा रहा है।

रिपोर्ट्स के मुताबिक जस्टिस यशवंत वर्मा को जो हटाने की तैयारी चल रही है, उसमें राज्यसभा में विपक्षी सांसदों ने भी एक नोटिस दे दिया था, वो साइन किया गया नोटिस वर्मा को हटाने को लेकर ही था। बड़ी बात यह रही कि जगदीप धनखड़ ने उसे स्वीकार कर लिया। यह तब की बात है जब लोकसभा में सरकार द्वारा जस्टिस वर्मा को हटाने की कार्रवाई शुरू तक नहीं की गई थी। ऐसे में माना गया कि क्रेडिट की रेस में विपक्ष आगे निकल गया और सरकार की फजीहत हुई। कुछ लोग इस थ्योरी को भी जगदीप धनखड़ के इस्तीफे से जोड़कर देख रहे हैं।

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अभिनंदन ने जिस फाइटर जेट से तबाह किया था पाकिस्तान का F-16, अब वायुसेना से हो रही उसकी विदाई

MIG-21 Retirement: भारतीय वायुसेना में शामिल मिग-21 विमान के रिटायरमेंट का समय नजदीक आ गया है। 62 साल से वायुसेना को अपनी सेवाएं दे रहे मिग 21 को चंडीगढ़ एयरबेस एक खास समारोह में विदाई दी जाएगी। मिग 21 मूल रूप से रूस तत्कालीन सोवियंत संघ द्वारा बनाया गया विमान है, जिसे साल 1963 में भारतीय वायुसेना में शामिल किया था। देश के दुश्मनों के खिलाफ निर्णायक कार्यवाइयों में मिग-21 की अहम भूमिका थी।

साल 2019 में जब भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तानी आतंकवादियों के खिलाफ बालाकोट एयरस्ट्राइक की थी,तो उसके बाद इसी मिग-21 विमान को विंग कमांडर अभिननंद वर्धमान उड़ा रहे थे। विंग कमांडर ने इसी मिग विमान से पाकिस्तान के अमेरिका निर्मित F-16 जैसे विमान को नेस्तानाबूद कर दिया था। अभिनंदन गलती से पाकिस्तान में जरूर चले गए थे लेकिन 48 घंटे में ही भारत की कूटनीति की बदौलत उनकी वतन वापसी हुई थी।

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बता दें कि मिग-21 एक हल्का सिंगल पायलट फाइटर जेट है। भारतीय वायुसेना ने पहली बार 60 के दशक में मिग 21 विमानों को शामिल किया था। सोवियत रूस के मिकोयान-गुरेविच डिजाइन ब्यूरो ने मिग 21 1969 में बनाया था। यह लड़ाकू विमान करीब 18 हजार मीटर तक की ऊंचाई पर उड़ान भरने में सक्षम है और एयर टू एयर मिसाइलों और बमों को ले जाने में भी सक्षम माना जाता है।

‘वो लंबे – जंबे जाट हैं, हट्टे – कट्टे’, जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर रेणुका चौधरी बोलीं- BJP में अजीब वायरस घूम रहा

भारतीय वायुसेना ने 1965 और 1971 में हुए भारत पाकिस्तान युद्ध के दौरान इन विमानों का इस्तेमाल किया था। इसके अलावा भारतीय वायुसेना के लिए यह मिग-21 विमान रीढ़ की हड्डी माने जाते थे, लेकिन इनकी खामियों की वजह से भारतीय वायुसेना को काफी नुकसान भी हुआ था, जिन पर बात करना बेहद जरूरी है।

मिग 21 विमान रूस ने बनाए थे लेकिन इनके साथ दिक्कत ये थी कि ये कई खामियों की वजह से क्रैश हो जाते ह। इसीलिए 1985 में रूस ने अपनी वायुसेना से इन विमानों को रिटायर कर दिया था। इतना ही नहीं, रूस से ये विमान बांग्लादेश ने भी खरीदे थे और उन्होंने ने भी अपने यहां मिग 21 को रिटायर कर दिया था। मिग 21 विमान को विडो मेकर, फ्लाइंग कॉफिन, यानी उड़ता हुआ ताबूत भी कहा जाता था।

जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर पीएम नरेंद्र मोदी का पहला रिएक्शन

ना विपक्ष को बख्शा, सरकार को भी आईना… सबसे मुखर उपराष्ट्रपति बनने में सफल रहे धनखड़

‘वह अभी भी जज हैं, आपके दोस्त नहीं’, जस्टिस यशवंत वर्मा को नाम से बुलाने पर भड़के CJI; वकील से बोले – कोर्ट को हुक्म मत दो

Supreme Court News: भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई ने सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में वरिष्ठ वकील मैथ्यूज नेदुंपरा को कड़ी फटकार लगाई। सीजेआई ने ऐसा इस वजह से किया क्योंकि उन्होंने इलाहाबाद हाई कोर्ट के जज यशवंत वर्मा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई के दौरान उन्हें सिर्फ वर्मा कह दिया था।

वकील मैथ्यूज नेदुंपरा ने कोर्ट से जस्टिस वर्मा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग वाली अपनी याचिका पर तत्काल सुनवाई का आग्रह किया था। उन्होंने कोर्ट में यह तीसरी रिट याचिका दायर की है। एक मौके पर उन्होंने जस्टिस वर्मा को केवल वर्मा कह दिया। इस पर तुरंत सीजेआई ने वकील को कड़ी फटकार लगाई और कहा, ‘अगर आप चाहते हैं कि मैं इसे अभी खारिज कर दूं, तो मैं इसे अभी खारिज कर दूंगा। क्या जस्टिस वर्मा आपके दोस्त हैं? वे अब भी हाईकोर्ट के एक विद्वान जज हैं। कुछ तो शिष्टाचार रखें। आप उन्हें ‘वर्मा’ कैसे कह रहे हैं।’

लाइव लॉ की रिपोर्ट के मुताबिक, नेदुंपरा ने कहा, मुझे नहीं लगता कि यह महानता उन पर लागू हो सकती है। मामला लिस्ट होना चाहिए। इस पर सीजेआई गवई ने कहा कि कोर्ट को हुक्म मत दो।’ सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने भी नेदुंपरा के वर्मा शब्द पर कड़ी आपत्ति जताई और जोर देकर कहा कि वह अभी भी इलाहाबाद हाई कोर्ट के जज हैं।

वकील और प्रोफेसर का घर गिराने पर बिफरा सुप्रीम कोर्ट

वरिष्ठ वकील नेदुंपरा ने अपनी याचिका में दिल्ली पुलिस को जस्टिस वर्मा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने और नकदी बरामदगी की जांच करने का निर्देश देने की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि इतने बड़े पैमाने पर नोटों की बरामदगी एक क्राइम है। बता दें कि 14 मार्च को आग लगने की जानकारी मिलने के बाद फायर ब्रिगेड के कर्मचारी और पुलिसकर्मी जज के सरकारी आवास पर पहुंचे। वहां उन्हें प्लास्टिक की थैलियों में बड़ी मात्रा में अधजले नोट मिले।

नेदुंपरा की याचिका में कहा गया है कि पुलिस अधिकारियों ने घटनास्थल पर वीडियो और फोटों लीं, लेकिन एफआईआर दर्ज नहीं की। ऐसा इसलिए क्योंकि के. वीरास्वामी बनाम भारत सरकार मामले में दिए गए फैसले में कहा गया है कि किसी जज के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के लिए सीजेआई की इजाजत बेहद ही जरूरी है। जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ आएगा महाभियोग प्रस्ताव?

मॉर्निंग वॉक पर गए थे मुख्यमंत्री, अचानक आया चक्कर, अस्पताल में करवाना पड़ा भर्ती

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन को इस समय अस्पताल में भर्ती हैं। न्यूज एजेंसी ANI ने जानकारी दी है कि आज सुबह एमके स्टालिन हर रोज की तरह मॉर्निंग वॉक पर गए थे, तभी उन्हें हल्का चक्कर आया है। इसके बाद उन्हें जांच के लिए चेन्नई के एक प्राइवेट अस्पताल में भर्ती करवाया गया है। उनके जरूरी टेस्ट किए जा रहे हैं।

Chief Minister of Tamil Nadu, MK Stalin, had mild giddiness during his routine morning walking. He has been admitted to Apollo Hospitals, Chennai for evaluation of his symptoms and the necessary diagnostic tests are being done. pic.twitter.com/kps4fCDNQq

‘प्रधानमंत्री की लापरवाही की वजह से…’, TMC के कल्याण बनर्जी बोले- नरेंद्र मोदी देश से माफी मांगें

Kalyan Banerjee Pahalgam Attack: संसद के मॉनसून सत्र की शुरुआत इस बार हंगामेदार हुई है। पहलगाम आतंकी हमले से लेकर ऑपरेशन सिंदूर को लेकर विपक्ष मोदी सरकार पर हमलावर है। टीएमसी सांसद कल्याण बनर्जी ने पहलगाम आतंकी हमले की वजह, सुरक्षा में चूक और विदेश नीति को लेकर सवाल खड़े किए हैं। टीएमसी सांसद ने कहा कि पीएम मोदी को देश से माफी मांगनी चाहिए।

दरअसल, टीएमसी के लोकसभा सांसद कल्याण बनर्जी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह को निशाने पर लिया। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की लापरवाही के कारण आतंकवादी देश में घुस आए और निर्दोष लोगों की हत्या कर भाग गए। प्रधानमंत्री मोदी को देश से माफी मांगनी चाहिए।”

संसद की कार्यवाही के अपडेट्स | आज की बड़ी खबरें

कल्याण बनर्जी ने केंद्र सरकार पर खुफिया एजेंसी की निगरानी में चूक और लापरवाही को पहलगाम आतंकी हमले की अहम वजह बताया है। कल्याण बनर्जी ने कहा, “पीएम मोदी को माफी मांगनी चााहिए क्योंकि पहलगाम की घटना उनकी अक्षमता और लापरवाही के कारण हुई। प्रधानमंत्री में कोई क्षमता नहीं है और एक भी देश उन्हें पसंद नहीं करता।”

‘ट्रंप ने 24 बार कही सीजफायर की बात, ये देश का अपमान’, ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के लिए अड़े खड़गे

#WATCH | Delhi | TMC MP Kalyan Banerjee says, “…Due to the carelessness of the Prime Minister and Union Home Minister Amit Shah, terrorists entered the country and killed innocent people and they left the place.. PM Modi should apologise to the nation, as the Pahalgam incident… pic.twitter.com/SuRr74Lya1

राहुल गांधी ने PM मोदी पर साधा निशाना; बोले- मुझे बोलने नहीं दिया जाता

बता दें पूरा विपक्ष पहलगाम आतंकी हमले से लेकर ऑपरेशन सिंदूर में कथित तौर पर गिरे भारतीय फाइटर जेट्स, अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर के ऐलान और एस जयशंकर के बयानों के मुद्दे पर मोदी सरकार पर हमलावर है। विपक्ष लोकसभा और राज्यसभा दोनं ही सदनों में आज से शुरू हुए मानसून सत्र में विस्तृत चर्चा की मांग कर रहा है। इस मुद्दे किसी और नहीं बल्कि पीएम मोदी से जवाब की मांग अड़े हुए हैं।

राज्यसभा में नेता विपक्ष और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी इसी मुद्दे को लेकर रूल 67 के तहत चर्चा की मांग की और कहा कि इस मुद्दे पर भारत का ट्रंप की वजह से अपमान हुआ है।

राहुल ने खिलाया, प्रियंका ने सभी में बांटा… खड़गे के बर्थडे सेलिब्रेशन का VIDEO

मानसून सत्र से पहले पीएम नरेंद्र मोदी ने किया ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का जिक्र

राहुल ने खिलाया, प्रियंका ने सभी में बांटा… खड़गे के बर्थडे सेलिब्रेशन का VIDEO

Mallikarjun Kharge Birthday Celebration: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे का जन्मदिन नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने काफी जोर-शोर से मनाया है। सोशल मीडिया पर उनके बर्थडे सेलिब्रेशन का एक वीडियो भी वायरल हो चुका है। वायरल वीडियो में सबसे पहले खड़गे अपना केक कट करते हैं, फिर राहुल अपने हाथों से उन्हें खिलाते हैं। राहुल का वो अंदाज देख सभी कांग्रेस सांसद खासा उत्साहित हो गए हैं।

वीडियो में प्रियंका गांधी भी दिखाई दे रही हैं जिन्होंने सभी में केट बांटा। उन्होंने खुद सामने से उस केक को लिया और फिर अपनी जिम्मेदारी समझते हुए सभी को खिलाया। लोग सोशल मीडिया पर प्रियंका के इस अंदाज की भी खासा चर्चा कर रहे हैं। अब राजनीतिक बयान और आरोप-प्रत्यारोप के बीच में इस तरह का वीडियो लोगों के दिल में अपनी जगह बना चुका है। इससे पहले भी राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे की ऐसी केमिस्ट्री देखने को मिल चुकी है।

#MonsoonSession | Delhi: Congress MPs, including Lok Sabha LoP Rahul Gandhi, today celebrated the birthday of party president and Rajya Sabha LoP Mallikarjun Kharge.(Source: AICC) pic.twitter.com/RYQaQLECCC

जानकारी के लिए बता दें कि इस समय संसद का मानसून सत्र चल रहा है। उस बीच ही मल्लिकार्जुन खड़गे का जन्मदिन मनाया गया है। राज्यसभा की कार्यवाही के दौरान भी केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा ने सबसे पहले खड़गे को जन्मदिन की हार्दिक बधाई दी थी। लेकिन उसके बाद दोनों ही तरफ से तीखे हमले भी शुरू हो गए। असल में ऑपरेशन सिंदूर को लेकर खड़गे ने कुछ ऐसा बोला कि नड्डा को भी गुस्सा आ गया।

अपने संबोधन में खड़गे ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का जिक्र करते हुए बोला कि उनकी तरफ से 24 बार दावा हुआ कि उन्होंने भारत-पाक का युद्ध रुकवाया। उनके इसी बयान पर नड्डा ने नियमों का हवाला देते हुए खड़गे पर तंज कसा। बाद में देखते ही देखते हंगामा और ज्यादा बढ़ गया और राज्यसभा की कार्यवाही को ही स्थगित करना पड़ गया। वैसे सरकार ने साफ कर दिया है कि वो ऑपरेशन सिंदूर पर नियमों के तहत चर्चा करने को तैयार है।

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